जम्मू-कश्मीर ने रणजी ट्रॉफी 2024-25 में मुंबई को पांच विकेट से हराकर बड़ा उलटफेर किया। मुंबई की टीम में रोहित शर्मा, यशस्वी जायसवाल, श्रेयस अय्यर और अजिंक्य रहाणे जैसे खिलाड़ी शामिल थे लेकिन टीम कुछ खास प्रदर्शन नहीं कर पाई। जम्मू-कश्मीर को जीत के लिए सिर्फ 205 रनों का लक्ष्य मिला था जिसे उन्होंने आसानी से हासिल कर लिया।
मैच के बाद जम्मू-कश्मीर टीम से जुड़ी एक बड़ी खबर सामने आ रही है। जम्मू – कश्मीर क्रिकेट एसोसिएशन ने बीसीसीआई के पास मैच में अंपायरिंग के स्तर को लेकर शिकायत दर्ज कराई है।
बीसीसीआई से जम्मू-कश्मीर ने मदद की गुहार लगाई
जम्मू-कश्मीर क्रिकेट एसोसिएशन ने मैच के दौरान अंपायरिंग के स्तर को लेकर असंतोष व्यक्त किया है। मुंबई और जम्मू-कश्मीर के बीच खेल में नवदीप सिंह और सुंदरम रवि ने अंपायरिंग की। दोनों पहले आईसीसी के अंपायरों के एलीट पैनल में थे जबकि नितिन गोयल मैच रेफरी थे।
रणजी ट्रॉफी में अंपायरिंग हमेशा से विवादित रही है। मुंबई और जम्मू और कश्मीर के बीच मैच के दूसरे दिन जम्मू-कश्मीर के तेज गेंदबाज उमरान नजीर की गेंद पर ड्राइव करते समय अय्यर कैच-बैक अपील से बच गए, जिससे अंपायरिंग चर्चा में आई। जब बाहरी किनारा लगा तो गेंद विकेटकीपर कन्हैया वधावन के पास गई थी लेकिन अंपायर एस रवि ने नॉटआउट करार दिया था।
टाइम्स ऑफ इंडिया को जम्मू और कश्मीर क्रिकेट एसोसिएशन के एडिमिस्ट्रेटर अनिल गुप्ता ने बताया,
“हां, हमने मैच में अंपायरिंग के स्तर के बारे में बीसीसीआई के पास आधिकारिक शिकायत दर्ज कराई है। हमने कुछ ऐसे फैसलों की ओर ध्यान दिलाया है जो जम्मू-कश्मीर टीम के खिलाफ गए- पहली पारी में आबिद मुश्ताक को LBW आउट दिया गया (मोहित अवस्थी की गेंद पर), जबकि गेंद लेग-स्टंप के बाहर पिच हुई थी, और मुंबई के मिडिल ऑर्डर बल्लेबाज श्रेयस अय्यर को नॉट आउट दिया गया, जबकि गेंद ने स्पष्ट रूप से किनारा लिया था। चूंकि मैं मैदान पर मौजूद था और मैच देख रहा था, इसलिए मैं अंपायरिंग के कुछ फैसलों से निराश था, जो काफी भयावह थे।”