टीम इंडिया को नया टाइटल स्पॉन्सर मिल गया है। ड्रीम 11 की जगह लेने के लिए कई कंपनियां प्रतिस्पर्धा कर रही थीं, लेकिन कुछ रिपोर्टों के अनुसार अपोलो टायर्स बाजी मारने में सफल रहा है। भारतीय क्रिकेट टीम के जर्सी स्पॉन्सर ड्रीम इलेवन ने पिछले महीने सरकार द्वारा ऑनलाइन बेटिंग एप के खिलाफ कानून बनाने के बाद तात्कालिक प्रभाव से BCCI से डील खत्म कर दी थी।
अपोलो टायर्स भारतीय टीम की नया जर्सी स्पॉन्सर बना
बीसीसीआई की नए जर्सी स्पॉन्सर की खोज खत्म हो गई है।16 सितंबर को स्थगित स्पॉन्सरशिप बिडिंग के लिए बहुत सी कंपनियों ने आवेदन किया था। हालाँकि, बीसीसीआई ने केवल खेल, सट्टेबाजी, क्रिप्टो, तंबाकू, बैंकिंग, वित्तीय संस्थाओं, गैर-अल्कोहलिक शीतल पेय, पंखे, मिक्सर ग्राइंडर, सेफ्टी लॉक और बीमा कंपनियों के अलावा अन्य ब्रांडों को ही भाग लेने की अनुमति दी थी।
जिसमें कैनवा और जेके टायर भी शामिल थे; बिड़ला ऑप्टस पेंट्स ने दिलचस्पी दिखाई, लेकिन बोली नहीं लगाई। वहीं अपोलो टायर्स यह स्पॉन्सरशिप अपने नाम करने में कामयाब रहा। ₹4.5 करोड़ प्रति मैच पर यह सौदा तय हुआ है। जो ड्रीम11 की राशि से काफी अधिक है। 2027 तक करीब 130 मैच कवर करेगा। ध्यान दें कि टीम इंडिया फिलहाल किसी स्पॉन्सर के लोगो के बिना एशिया कप 2025 खेल रही है।
Apollo Tyres to be Indian cricket team’s new jersey sponsor pic.twitter.com/0qihGOr1us
— SportsTiger (@The_SportsTiger) September 16, 2025
भारतीय क्रिकेट टीम के नए जर्सी स्पॉन्सर के तौर पर अपोलो टायर्स BCCI को प्रति मैच 4.5 रुपये की मोटी कीमत देगा। जिस ड्रीम 11 से मिलेन वाली कीमत से काफी ज्यादा है। ड्रीम 11 प्रत्येक मैच के लिए बीसीसीआई को चार करोड़ रुपये देता था। अपोलो टायर्स 2027 में खेले जाने वाले वनडे वर्ल्ड कप तक भारतीय टीम के जर्सी स्पॉन्सर बने रहेंगे।
बीसीसीआई और अपोलो टायर्स की इस नयी साझेदारी की शुरुआत वेस्टइंडीज बनाम भारत की दो मैच टेस्ट श्रंखला से होगी। यह सीरीज भारत में खेली जाएगी जिसके बाद भारतीय टीम ऑस्ट्रेलिया के व्हाइट बॉल दौरे के लिए रवाना होगी। इंडिया-ए और ऑस्ट्रेलिया-ए के बीच होने वाले एक दिवसीय मैचों में, अपोलो टायर्स को भारतीय वनडे टीम की जर्सी पर स्पॉन्सर के तौर पर देखा जाएगा।
अपोलो की बोली और उसका मूल्य निर्धारण मुंबई स्थित WPP मीडिया द्वारा किया गया। बोली से पहले, उद्योग में बीसीसीआई के टेंडर को लेकर कुछ असमंजस था। खबरें थीं कि इस स्पॉन्सरशिप के लिए उच्च मांग नहीं रहेगी, विशेषकर जब सरकार ने रियल-मनी गेमिंग कंपनियों पर रोक लगा दी थी। ये कंपनियाँ भारत में खेलों और टूर्नामेंटों में सबसे बड़े निवेशक मानी जाती थीं। हालांकि, बीसीसीआई को एक ऐसा स्पॉन्सर मिला है जो पिछले स्पांसर से 200 करोड़ रुपये ज्यादा देने को तैयार है, जबकि ड्रीम11 के साथ बोर्ड का सौदा 358 करोड़ रुपये में था।